पौड़ी तहसील की कफोलस्यूं पट्टी में एक
सिरफिरे ने पौड़ी परिसर से प्रायोगिक परीक्षा देकर घर लौट रही एक छात्रा पर
पेट्राल डालकर आग लगा दी। आग से 70 फीसदी झुलसी छात्रा को पौड़ी से
श्रीनगर अस्पताल रेफर किया गया है। आरोपी फरार हो गया।
कोतवाल पौड़ी मनोज रतूड़ी और तहसीलदार
पौड़ी एचएम खंडूडी ने बताया कि पल्ली गांव की नेहा रविवार को बीजीआर पौड़ी परिसर में बीएससी द्वितीय वर्ष की प्रयोगात्मक परीक्षा देकर स्कूटी से अपने
गांव जा रही थी। नेहा जैसे ही आली भीमली के पास पहुंची, गहड़ गांव के मनोज सिंह उर्फ बंटी ने उस पर पेट्रोल डालकर आग लगा दी।
एम्बुलेंस से उसे पौड़ी जिला अस्तपाल में भर्ती करवाया गया। जिला अस्पताल के डॉ. बीपी मौर्य और डॉ. पंकज कुमार शर्मा
ने बताया कि छात्रा 70 फीसदी से अधिक जल चुकी है। उसे मेडिकल कॉलेज श्रीनगर के लिए रेफर कर दिया है। पुलिस ने मौके से स्कूटी, पेट्रोल की बोतल
कब्जे में ले ली है।
कोतवाल मनोज रतूड़ी ने बताया कि घटना का कारण क्या है, यह आरोपी की गिरफ्तारी के बाद ही पता चलेगा। छात्रा अभी
बेस़ुध है, उसके होश में आने पर घटना के बारे में विस्तृत जानकारी ली
जाएगी। आरोपी को पकड़ने के लिए पुलिस की टीमें दबिश दे रही हैं। घटना से पूरे क्षेत्र में आक्रोश है।
पश्चिम बंगाल के उत्तर 24 परगना जिले में
एक निजी नर्सिंग होम में 11 दिन की बच्ची की तस्करी में शामिल होने के आरोप
में नर्सिंग होम के मालिक सहित पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया है। पुलिस ने यह जानकारी दी।
पुलिस ने बताया कि शनिवार को गिरफ्तार किए
गए इन लोगों में एक दंपति भी शामिल है, जिन्होंने नवजात बच्ची को 60 हजार रुपये में कथित तौर पर खरीदा है। मामला उस वक्त सामने आया, जब यह दंपति
बीमार नवजात बच्ची को ले कर हाबरा अस्पताल पहुंचा। लेकिन यह दंपति बच्ची के
जन्म से जुड़े कागजात अस्पताल में पेश नहीं कर पाया।
इस पर अस्पताल के अधिकारियों को कुछ संदेह
हुआ और उन्होंने इसकी जानकारी पुलिस को दी। पुलिस ने कड़ाई से पूछताछ की
तब कथित मानव तस्करी का पता चला। फिलहाल बच्ची के वास्तविक माता-पिता के
बारे में पता नहीं चल पाया है। पुलिस ने नर्सिंग होम को सील करने के लिए
स्थानीय अदालत से अनुमति मांगी है। अदालत ने इनमें से दो लोगों को आठ दिन
की पुलिस हिरासत और शेष को न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।